रविवार, 21 फ़रवरी 2016

हम और सवाल

मैं और हम सब में से अधिकतर अपनी तैयारी या अपनी खुशियाँ जुटाने के लिए आने वाले कल का इंतज़ार करते हैं,पर तब क्या हो जब आपको कहीं से ये पता चल जाएँ कि कल का सूरज आप नहीं देख पाएँगे??
शायद कुछ लोग इस डर की वजह से चंद पल में ही जिंदगी गँवा बैठेंगे,कुछ लोग अपनी पूरानी गलतियों को ठीक करने में वक्त लगाएँगे,और कुछ बुद्धिजीवी वर्ग अपना हर काम में शत प्रतिशत देने का प्रयत्न करेंगे।
        अगर हर कोई अपने हर एक काम में अपना शत प्रतिशत देने लगे,तो शायद हम पछतावे जैसे शब्द को अतीत बना चुके होंगे,और सफलता को अपना वर्तमान।
क्यूंकि शत प्रतिशत मेहनत के आगे सफलता निश्चित होती हैं और सफलता जहाँ होंगी वहाँ पछतावा नहीं हो सकता,हाँ सफलता कुछ आगे या पीछे जरुर हो सकती हैं।
        यह प्रश्न अपने आप में अनोखा होगा कि आप अपने जीवन में क्या करना चाहेंगे जब आपके जीवन में चंद दिन ही शेष रहे?
          शायद ऐसा सोचना थोडा मुश्किल लगे पर अगर हम अपनी सोच में भी अगर मुशिकल लाना मुनासिब न समझेंगे तो असलियत में शायद में हम ऐसी मुश्किलों से दूर भागेंगे जो कोई अच्छी आदत नहीं हैं।
जब यहीं सवाल एक सभा में पूछा गया तो जवाब वाकई मैं दिल छू लेने वाले थे।
कुछ जवाब-1मैं अपने अंगदान करना चाहूँगा जिससे कि मैं अपनी ज़िन्दगी दुसरे के जरिये जी सकूँ।
   ऐसे ही अजनबी से लगते सवाल खुदसे पूछिये और खुद ही उन सवालों के जवाब ढूंढने की कोशिश कीजिये हो सकता हैं कि उन अजनबी से लगने वाले सवालों में ही आपका भविष्य छिपा हुआ हो।
         Stay tune :-)
Be cool ;-)

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